उत्तराखंड: लट्ठों के सहारे जिंदगी! जान हथेली पर रखकर गदेरा पार कर रहे ग्रामीण

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उत्तराखंड में भारी बारिश लोगों पर आफत बनकर टूट रही है। सीमांत जिला मुख्यालय उत्तरकाशी में भारी बारिश से कई संपर्क मार्ग बाधित हो गए हैं। साथ ही गाड़ गदेरे उफान पर बह रहे हैं। जिन्हें लोग जान जोखिम में डालकर पार करते दिखाई दे रहे हैं।

उत्तरकाशी के सीमांत विकास खंड मोरी के दूरस्थ पट्टी बढासु के ग्रामीणों को जान जोखिम में डालकर उफनते पूर्ति गदेरे को पार करना पड़ रहा है। बरसात के मौसम में घीया पूर्ति गदेरे को पार करना सांकरी एवं तालुका गांव के लोगों की नियति बन गई है। सांकरी,नेटवाड एवं तालुका क्षेत्र में पिछले कई दिनों से रुक-रुक कर हो रही भारी बारिश ने लोगों की परेशानियां बढ़ा दी हैं। वहीं मार्ग बाधित होने से लोग मंडियों तक सेब को नहीं पहुंचा पा रहे हैं। बीते दिन भारी बारिश से सांकरी-तालुका मोटर मार्ग के किमी सात पर घीया पूर्ति गदेरे पर अस्थाई लकड़ी की पुलिया बहने से पट्टी ओसला, गंगाड, ढाटमीर, तालुका, पंवाणी पांच गांवों का ब्लॉक मुख्यालय मोरी से संपर्क कट गया है। ग्रामीणों ने प्रशासन को पत्र लिखकर जल्द पुलिया निर्माण की मांग की है। क्षेत्र में रुक रुक कर बारिश हो रही है, कई जगहों पर पैदल ध्वस्त हो गए हैं। फिर भी ग्रामीण जान जोखिम में डालकर रोजमर्रा के सामान के लिए सांकरी मोरी तक का सफर कर रहे हैं। इस क्षेत्र में इन दिनों सेब की पैदावार भी तैयार है, लेकिन सेब को मंडियों तक पहुंचाने में दिक्कत हो रही है। ग्रामीणों ने शासन प्रशासन से जल्द घीया व पूर्ति गाड़ पर आस्थाई पुलिया का निर्माण कर आवाजाही सुचारू किए जाने की मांग की है। ताकि ग्रामीण जिला मुख्यालय तक पहुंच सके और समय पर से मंडी तक सेब को पहुंचाया जा सके। बता दें कि प्रदेश में भारी बारिश से नदी-नाले उफान पर बह रहे हैं। साथ ही भारी बारिश से कई संपर्क मार्ग ध्वस्त हो गए हैं।


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